Sunday, 7 July 2024

Roman katha Upkar ka badala

 रोमन कथा


उपकार का बदला


बहुत समय पहले विटालिस नाम का व्यापारी घने जंगलों से गुजर रहा था कि जानवर पकड़ने के गड्डे में गिर गया। उस गड्डे में एक सांप और एक शेर पहले से ही मौजूद था। विटालिस ईश्वर को याद करता काँपता हुआ उन दोनों खूँखार जानवरों की ओर देखने लगा लेकिन इस समय वे स्वयं विपत्ति में थे इसलिये उसे घूरते चुपचाप बैठे रहे।

प्रातः काल जंगल में लकड़ियाँ बीनने के लिये आये एक लकड़हारे ने गड्डे से आती आवाजें सुन झाँक कर देखा। उसे देख विटालिस बोला, ”मैं वेनिस का रहने वाला विटालिस हूँ, धोखे से इस गड्डे में गिर गया हूँ, इस गड्डे में एक शेर और एक सांप भी है, ईश्वर की कृपा से अभी तो इन्होंने मुझसे कुछ कहा नही है परन्तु किसी भी क्षण ये मुझे खा सकते हैं, यदि तुम मुझे इस गड्डे में से निकाल दोगे तो मैं तुम्हें अपनी आधी जायदाद दे दूँगा।“

‘ठीक यदि तुम वादा करो तो मैं तुम्हें इसमें से निकाल दूँगा।’ लकड़हारे ने पूछा।

विटालिस भगवान की कसम खाता हुआ गिड़गिड़ाने लगा। जिस समय लकड़हारा विटालिस को निकाल रहा था शेर और सांप भी अपने ढंग से जताने लगे कि वह उन्हें भी निकाल दे। रस्सी और लकड़ी के सहारे शेर और सांप भी बाहर निकल आये। उन्होंने लकड़हारे के पैर चाटे और चले गये। विटालिस ने लकड़हारे को गले लगाया और चलने लगा तो लकड़हारे ने पूछा कि वह अपना वादा कब पूरा करेगा तो विटालिस बोला, ‘चार दिन बाद वेनिस मेरे घर आ जाना।“

लकड़हारा घर आकर खाना खाने बैठा ही था कि शेर एक मृत बकरी लेकर आया उसे लकड़हारे के सामने रखकर चुपचाप चलने लगा तो लकड़हारा उसकी माँद देखने चला। शेर की माँद देखकर वह वापस आया ही था कि सांप आया उसके मुँह में एक बहुमूल्य मणि थी। सांप ने वह मणि लकड़हारे की तश्तरी में रख दी। लकड़हारा सांप का घर भी देख आया।

चार दिन बाद लकड़हारा मणि अपने साथ लेकर व्यापारी के महल वेनिस शहर पहुँचा। उस समय विटालिस भोजन कर रहा था। लकड़हारे को देख अनजान बनते ”मैं अपना हिस्सा लेने आया हूँ।’ लकड़हारे ने याद दिलाते हुए कहा।

‘वाह! वाह! तुमने तो बड़ी आसानी से कह दिया कि हिस्सा दो पता है मैने यह धन कितनी मुश्किल से कमाया है। ’यह कहकर नौकरों से कहकर धक्का देकर उसे निकलवा दिया।

लकड़हारा बहुत दुःखी हुआ और शहर के न्यायाधीश को जाकर पूरा किस्सा बयान करते हुए सांप द्वारा दी गई मणि दिखाई। न्यायाधीश ने मणि जौहरी को दिखाई जिसने बताया कि मणि बहूमूल्य है। लकड़हारा, न्यायाधीश को दोनों जानवरों के रहने के स्थान पर ले गया, लकड़हारे को देखकर प्यार से उसके पैरों में लौटने लगे। न्यायाधीश समझ गया कि लकड़हारा सच कह रहा है। उन्होंने विटालिस को वादा पूरा करने की आज्ञा देते हुए कहा कि वादा पूरा करने की स्थिति में जेल की सजा दी जायेगी।



प्रस्तुतिः शशि गोयल


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