Sunday, 18 May 2025

यक भितरघाती

 बहुत  दुःख बहुत  क्रोध  आता है  जब चंद चांदी के टुकड़ों के लिए कोई  अपने देश को बेचने के लिए तैयार होता है ऐसे लोगों को धिक्कार है  अपनी मट्टी अपना वतन  इससे उपर भी कुछ हो सकता है एक वे महिलाएं सोफिया और व्योमिका जो अपनी जान कुर्बान करने को तैयार हैं और एक ओर जो एश आराम के लिए दुश्मन देश  को सूचना दे रही है  सोफिया व्योमिका को सलाम है 

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